प्रयागराज। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने स्पष्ट किया है कि जो लोग ईसाई धर्म अपना चुके हैं, उन्हें अनुसूचित जाति (SC) का लाभ नहीं मिल सकता। कोर्ट ने कहा कि धर्म परिवर्तन के बाद SC दर्जा बनाए रखना संविधान के साथ धोखाधड़ी है। यह निर्णय न्यायमूर्ति प्रवीण कुमार गिरी ने महराजगंज के जितेंद्र साहनी की याचिका खारिज करते हुए दिया।
जांच में पाया गया कि साहनी ईसाई धर्म अपना चुके थे, फिर भी हिंदू जाति का प्रमाण दिखा रहे थे। कोर्ट ने यूपी के सभी जिलाधिकारियों को 4 महीने के भीतर ऐसे मामलों की पहचानकर कार्रवाई करने का निर्देश दिया।












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