वाराणसी 27 नवम्बर,2025 वाराणसी मंडल की मंडलीय टीम एवं संरक्षा विभाग द्वारा एन.डी.आर.एफ. की 09 वीं बटालियन के साथ 27 नवम्बर,2025 को 13:00 बजे पटेरही स्टेशन यार्ड के लाइन संख्या 05 में फुल स्केल मॉकड्रील का संयुक्त अभ्यास किया गया । इस फुल स्केल माँकड्रील में अपर मंडल रेल प्रबंधक(आप) अशोक कुमार वर्मा, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक आर. जे. चौधुरी, वरिष्ठ मंडल संरक्षा अधिकारी बलेन्द्र पाल,वरिष्ठ मंडल यांत्रिक इंजीनियर अनुभव पाठक,वरिष्ठ मंडल सिगनल एवं दूरसंचार इंजीनियर यशवीर सिंह, मंडल विद्युत इंजीनियर (आप) नीतीश कुमार शुक्ला, मंडल विद्युत इंजीनियर (कोचिंग) दीपक यादव,स्टेशन निदेशक (बनारस) लवलेस राय, सहायक मंडल इंजीनियर छपरा ए.के. राय, सहायक वाणिज्य प्रबंधक पी.एन मिश्रा कोचिंग डिपो अधिकारी छपरा अशोक कुमार, कमाण्डेन्ट(NDRF) रणधीर कुमार, समेत एन.डी.आर.एफ. की 09 वीं बटालियन के निरीक्षक सामान्य चेतन बहादुर,आरक्षी सामान्य रंजन कुमार ऋषि प्रकाश सहित संरक्षा विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों ने राहत और बचाव का अहम योगदान दिया ।

नियंत्रण कक्ष से 12 :44 बजे सूचना मिली कि गाड़ी संख्या 00214 छपरा कचहरी –थावे रेल खण्ड पर पांचवा कोच (सं 03167/C 3AC छपरा कचहरी –थावे रेल खण्ड के मध्य पटेरही यार्ड में लाइन सं 05 पर कचहरी साइड 05 चक्के से डिरेल हो गयी है तथा कोच में आग लग गयी है, जिसमें 10 यात्रियों के गम्भीर रूप से घायल होने की सूचना प्रसारित की गई । घटना की सूचना मिलते ही ART, ARME तथा सम्बन्धित अधिकारी एवं जिला प्रशासनिक अधिकारी समेत पर्यवेक्षक घटना स्थल पर पहुँच गये । इसके साथ ही NDRF, फायर ब्रिगेड, जिला प्रशासन, लोकल पुलिस भी घटना स्थल पर आये । भारतीय रेल के दुर्घटना मैनुअल के गाईडलाइन्स के अनुसार सभी ने अपनी भूमिका का बखूबी निर्वहन किया तथा यह माक ड्रिल पूर्णरूप से सफल रहा।
इसी क्रम में क्रमशः दुर्घटना की प्लाटिंग की गई ,प्राथमिक सूचना का प्रसारण एवं सायरन बजाकर जनसंचार किया गया,मेन लाइन ब्लॉक होने के कारण गाडियों के मार्ग परिवर्तन एवं शार्ट टर्मिनेशन/ओरिजनेशन की सूचना दी गयी,हेल्पलाइन नम्बर जारी किया गया, घटना स्थल पर (Fire brigade) अग्निशामक बल,दुर्घटना राहत यान एवं चिकित्सा राहत यान का तत्काल पहुंचना, सभी तकनीकियों का प्रयोग कर आग बुझाना, साईट पर अस्थाई नियन्त्रण केंद्र स्थापित करना, यात्रियों के परिजनों को सही जानकारी हेतु इमरजेंसी नम्बर जारी करना, प्रोटोकाल के अनुसार कर्मचारियों एवं अधिकारीयों द्वारा दुर्घटना साईट पर पहुँच कर अपनी जिम्मेवारियों का निर्वहन,दुर्घटना प्रभावों न्यूनतम करने हेतु त्वरित कार्य करना ,
यात्रियों को संरक्षित ढंग से निकाला जाना,संरक्षा सम्बन्धी अन्य कार्य आपातकालीन खिड़कियाँ खोलना/ कटर एवं वेल्डिंग मशीन का प्रयोग कर फंसे यात्रियों को निकालना, प्राथमिक उपचार देना, आपातकालीन परिस्थितियों में प्रबंधन एवं आपदा निवारण टूल्स के प्रयोग से ट्रैक क्लियरेंस, कोच रिस्टोरेशन एवं सामान्य वर्किंग बहाल करने के उपरांत दुर्घटना के कारणों की समीक्षा की गई ।मॉकड्रील के समापन और समीक्षा के बाद अपर मंडल रेल प्रबंधक (आप)अशोक कुमार वर्मा ने बताया की माक ड्रील सफलतापूर्वक पूर्ण हुआ । उन्होंने रेलवे एवं एन डी आर एफ टीम के राहत और बचाव कार्यों की सराहना करते हुए कहा आप सभी की कार्य प्रणाली रेल सेवा के प्रति सतर्कता एवं जागरुकता को प्रदर्शित करता है। मुझे पूर्ण विश्वास है कि आप सब भविष्य में और भी सतर्कता के साथ दुर्घटना सम्बन्धी जिम्मेदारियों का निर्वहन करेंगें।
रिपोर्ट विजयलक्ष्मी तिवारी











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