ग्राम प्रधान के विरुद्ध सामाजिक कार्यकर्ता ने लगाया भ्रष्टाचार का आरोप अधिकारियों के मिलीभगत से भ्रष्टाचारी को बचाने का हो रहा कुत्सित प्रयास नहीं हुई कार्यवाही तो हाईकोर्ट का लेगें शरण:कमलाकांत सिंह

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चन्दौली चहनियां

क्षेत्र अंतर्गत कांवर गांव निवासी कमलाकांत सिंह पुत्र कपिलदेव सिंह नामक एक सामाजिक कार्यकर्ता ने कांवर ग्राम सभा की वर्तमान प्रधान धीरज सिंह के ऊपर शासनादेश का उल्लंघन कर स्वयं और अपने देवर के फर्म के माध्यम से सामानों की आपूर्ति के नाम पर लाखों रूपये गबन करने का आरोप लगाया है।

बताया कि धीरज सिंह द्वारा वित्तीय वर्ष 2022-23 में अपनी स्वयं की पंजीकृत फर्म महालक्ष्मी इंटरप्राइजेज, जिसका जी.एस.टी. नम्बर 09जेएचवीपीएस7008आईजेडवाई तथा उनके देवर के नाम रजिस्टर्ड दूसरी फर्म उमरावती इन्टरप्राइजेज जिसका जी. एस. टी. नम्बर-09डीईजीपीएस264आरआईजेडपी में बारी बारी से लाखों रुपये का भुगतान किया गया है। इस बाबत स्थानीय एक रेस्टोरेंट में आयोजित वार्ता के दौरान शिकायतकर्ता ने पत्रकारों से मुखातिब होते हुए बताया कि कांवर गांव की वर्तमान ग्राम प्रधान ने वर्ष 2022-23 में अपर मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश के पत्र संख्या-730/33-3-2022-11/2022 पंचायती राज अनुभाग-3 लखनऊ दिनांक 26.04.2022 पंचायती राज अनुभाग-3 (केन्द्रीय वित्त / राज्य वित्त आयोग के अन्तर्गत मैटेरियल आपूर्ति अथवा अन्य कार्य के सम्बन्ध में शासनादेश का उलंघन किया गया है। बताया कि उक्त शासनादेश के तहत यह स्पष्ट किया गया है

कि केंद्र व राज्य वित्त आयोग के अन्तर्गत मैटेरियल, ईधन, स्टेशनरी व अन्य सामग्री अथवा सेवाओं के आपूर्ति हेतु पंचायती राज विभाग से जुड़े पदाधिकारी/कर्मी (जिला पंचायत आध्यक्ष, जिला पंचायत के कर्मी, जिला पंचायत राज अधिकारी, क्षेत्र पंचायत प्रमुख, खण्ड विकास अधिकारी, सहयक विकास अधिकारी (पं०), ग्राम पंचायत प्रधान, ग्राम पंचायत सचिव, पंचायत सहायक, पंचायती राज विभाग के कर्मी व विभाग में संविदा पर कार्यरत कर्मी) के पारीवारिक सदस्यों व रिश्तेदारों द्वारा स्थापित फर्म / कम्पनीज से वेण्डर के रूप में कार्य नहीं लिया जायेगा। परिवार / सम्बन्धी का तातपर्य जिला पंचायत सेवा नियमावली 1970 के पैरा-54 के अनुसार पिता, पितामह, श्वसुर, चाचा या मामामुत्र, पौत्र, दामाद, भाई, भतीजा या भांजा, सगा चचेरा या ममेरा भाई, पत्नी का भाई और बहनोई, पति, पति का भाई, पति की बहन, पत्नी की बहन, पत्नी, पुत्री, पुत्रवधु, बहन, भाभी जो भाई या सगे चचेरे या ममेरे भाई की पत्नी हो, माता, सास, चाची या मामी द्वारा आपूर्ति नहीं ली जायेगी।

बताया कि उन्होंने उक्त भ्रष्टाचार के संबंध में जिलाधिकारी, मुख्य विकास अधिकारी, जिला पंचायत राज अधिकारी व जिला पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी को शासनादेश की प्रति व इसी प्रकरण में पूर्व में भलेहटा गांव निवासी दीपेश सिंह द्वारा आईजीआरएस पर की गई शिकायत पर जिला पंचायत राज अधिकारी द्वारा सहायक विकास अधिकारी से कराई गई जाँच रिपोर्ट जो उप निदेशक (पंचायत) वाराणसी मंडल को प्रेषित थी की छायाप्रति संलग्न कर शिकायत की थी। उक्त रिपोर्ट में यह स्पष्ट रूप से अंकित है कि कांवर के ग्राम प्रधान द्वारा मैटेरियल आपूर्ति अथवा अन्य कार्य के सम्बन्ध में उत्तर प्रदेश सरकार के शासनादेश का उल्लंघन किया गया है। ऐसे में पंचायत राज अधिकारी द्वारा नोटरी एफिडेविट के साथ शिकायत किये जाने की मांग पर शिकायत कर्ता ने पुनः इसकी शिकायत एफिडेविट के साथ की।

जिसपर डीपीआरओ ने अधिशाषी अभियंता नलकूप प्रखंड तथा पिछड़ा वर्ग कल्याण आयुक्त रत्नेश सिंह की दो सदस्यीय जांच कमेटी गठित कर 15 दिनों में रिपोर्ट मांगी थी। लगभग एक माह हो गये अभी तक न तो जांच हुई और न ही कोई कार्रवाई। ऐसे में उन्होंने अधिकारियों तथा ग्राम प्रधान और सचिव पर मिलीभगत कर लीपापोती का आरोप लगाते हुए कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा है कि सरकार के धन का दुरुपयोग करने वाले ग्राम प्रधान व उनको बचाने में लगे अधिकारियों पर कार्रवाई नहीं हुई तो वह मजबूरन उच्च न्यायालय की शरण लेंगे। इस बाबत डीपीआरओ नीरज सिन्हा ने बताया कि शिकायत का संज्ञान लेकर जांच कमेटी गठित कर रिपोर्ट मांगी गई है। रिपोर्ट अभी तक नहीं मिली है। जाँच कमेटी से सम्पर्क कर उन्हें जल्द से जल्द रिपोर्ट प्रेषित करने को कहा गया है।

कहा कि एक सप्ताह के अंदर रिपोर्ट आने की उम्मीद है। रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की जायेगी। वार्ता के दौरान उनके भाई नीरज सिंह सहित अन्य लोग उपस्थित रहे।

 

 

रिपोर्ट – अलीम हाशमी

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